जमानत के आधार क्या हैं? – What are the grounds of bail

जमानत के आधार क्या हैं आपराधिक मामलो मे जमानत का विषय हमेशा से ही आप लोगो के मन में एक जिज्ञासा का विषय रहा हैं कोई भी क्राइम फाइल होने के बाद सबसे पहले रिहा कराना सबसे बड़ी चुनौती बन जाती है जमानत कैसे कराया जाए जमानत के नियम क्या है किन मामलो मे जमानत मिलेगी और किन मामलो में जमानत नही मिलेगी इस संबंध मे सीआरपीसी के section 437 से लेकर 450 तक विस्तार से provision दिए गए है मैं आज इस पोस्ट पर आपको बताने वाला हूं कि जमानत क्या है कैसे कराई जाती है और किन किन अपराध में जमानत हो सकती है और जमानत कैसे जब्त की जाती है पिछली पोस्ट गिरफ्तार व्यक्ति के अधिकार

तो दोस्तों इस पोस्ट पर आप जमानत के बारे में काफी कुछ सीखने वाले है इसलिए यह पूरी पोस्ट पढ़े और जमानत के बारे में काफी कुछ सीखिए

जमानत के आधार क्या है

What are the grounds of bail

जमानत के नियम समझने से पहले यह समझना जरूरी है कि जमानती और गैर जमानती अपराध में अंतर क्या है कौन से अपराध जमानती है और कौन से नही यह जाने

सीआरपीसी सेक्शन 2 (A) में जमानती और गैर जमानती के बारे में defination दी गई है

जमानती अपराध – जमानती अपराध वह अपराध होते है जिन्हे कि सीआरपीसी की प्रथम अनुसूची में एक जमानती अपराध के रूप मे दिखाया गया है इसके अलावा और किसी कानून के द्वारा उस अपराध को जमानती बनाया गया है चलिए अब देखते है

जमानती अपराध में बेल कैसे मिलती है?

What are the grounds of bail

जमानती अपराध का कोई याने पुलिस द्वारा बिना किसी वारंट के गिरफ्तार किया जाता है या कोर्ट मे पेश किया जाता है या पुलिस के द्वारा अपराधी लाया जाता है तो अगर वह आरोपी अपनी जमानत देने को तैयार है तो ऐसे आरोपी या अपराधीको जमानत पर रिहा कर दिया जायेगा

कोई व्यक्ति यदि जमानती अपराध में गिरफ्तार किया गया है और एक हफ्ते के अंदर वह अपनी जमानत देने मे असमर्थ है तो कोर्ट उसे खुद के मुचलने पर छोड़ देगा लेकिन आपको यह बता देते है कि जमानत जब्त और प्रतिबंधात्मक कार्यवाही में यह नियम लागू नहीं होते है

सीआरपीसी सेक्शन 436 अब यहां पर प्रश्न यह पैदा होता है कि जमानती अपराध में एक अपराधी को जेल मे कितने समय तक बंद करके रखा जा सकता है कोई भी अपराधी जेल मे बंद है तो जिस अपराध में उसे जेल भेजा गया है उस अपराध की अधिकतम सजा की अवधि का आधा से अधिक की सजा भोग लेने के बाद कोर्ट ऐसे अपराधी को ज़मानत पर छोड़ देगा और प्लैब्डिस चाहें तो आरोपी के इस तरह से छोड़े जाने का विरोध कर सकता है

जमानत के आधार क्या हैं

किसी भी अपराधी को अपराध के लिए अधिकतम कारावास से अधिक जेल मे रखा नही जायेगा जैसे कि कोई अपराधी ने ऐसा क्राइम किया है या ऐसा अपराध किया है जिसमें उसको 5 साल की सजा मिली है तो उसे 5 साल से अधिक जेल में नही रखा जा सकता है

Section 436 (A) अब मैं आपको बताने वाला हूं गैर जमानती अपराध में ज़मानत कैसे मिलती है जब भी कोई व्यक्ति गैर जमानती अपराध करता है और पुलिस के द्वारा बिना वारंट के गिरफ्तार करके कोर्ट मे लाया जाता है या कोर्ट में वह खुद हाजिर हो जाता है तब मजिस्ट्रेट ऐसे आरोपी को जमानत पर छोड़ सकता है

लेकिन इसकी कुछ शर्ते है इसकी पहली शर्त यह है कि उस अपराधी ने जो अपराध किया है उसकी सजा मृत्यु दण्ड यानि फांसी नही होनी चाहिए और जो अपराध उसने किया है उस अपराध की सजा आजीवन कारावास भी नही होनी चाहिए और पहले से किसी भी अपराध में उसे दोषी नहीं होना चाहिए या फिर जो अपराधी है वह कोई महिला होनी चाहिए या जो अपराधी है वह बीमारी रोगी व्यक्ति होना चाहिए

अगर यह सारी की सारी शर्ते गई तो फिर उसको जमानत पर छोडा जा सकेगा

 

सीआरपीसी सेक्शन 437 अब मैं आपको बताता हुं अगर की यदि अपराधी को जमानत नही देता तो फिर क्या होता है जब भी कोई मजिस्ट्रेट किसी भी हालात मे गैर जमानती अपराध में डिफेंडे को जमानत नही देता तो हाईकोर्ट में ज़मानत के लिए अर्जी पेश की जा सकती है और हाईकोर्ट ऐसे में जमानत पर छोड़ सकता है

सीआरपीसी सेक्शन 439 यह बताता हैं कि अगर डिस्ट्रिक्ट कोर्ट से गैर जमानती अपराध में जमानत नही मिलती तो फिर डिफेंडेंट को हाईकोर्ट में बेल के लिए अर्जी पेश करनी चाहिए और हाईकोर्ट उसे जमानत पर छोड़ सकता है

जब कोर्ट किसी आरोपी को दोषमुक्त करते हुए फैसला कर देता है तब ऐसे दोषमुक्त आरोपी से इस बात की जमानत ली जा सकती है की अगर उनको उनकी कभी कोर्ट पर जरूरत पड़ी तो उनको कोर्ट मे आना पड़ेगा

What are the grounds of bail

ऐसी जमानत जो ली जाती है उसका अस्तित्व 6 माह तक रहता है वह जमानत 6 महीने तक लागू रहती है

Section 437 (A) अब मै आपको बताने वाला हूं की अग्रिम जमानत क्या होती हैं

जब भी किसी व्यक्ति को यह डर होता है कि उसे किसी गैर जमानती अपराध में गिरफ्तार किया जा सकता है तब ऐसा व्यक्ति हाईकोर्ट में जमानत पर रिहा होने के लिए एक एप्लिकेशन देगा और न्यायालय ऐसे व्यक्ति को अग्रिम जमानत दे सकता है

सीआरपीसी सेक्शन 438 यह बताता है कि जब भी किसी व्यक्ति को किसी गैर जमानती अपराध में गिरफ्तार होने का डर है तो वह गिरफ्तार होने से पहले सेशन कोर्ट मे या हाईकोर्ट में जमानत के लिए एक एप्लिकेशन देगा और हाई कोर्ट उसे जमानत दे देगा

What are the grounds of bail

जब भी किसी आरोपी की जमानत मंजूर कर ली जाती है और आरोपी के द्वारा जमानत कोर्ट के सामने पेश कर दी जाती है तो कोर्ट ऐसे व्यक्ति को छोड़े जाने के लिए जेलर को रिहाई का आदेश जारी कर देता है और आदेश के पालन में डिपेंडेंट को तुरंत छोड़ दिया जायेगा

सेक्शन 442 न्यायालय किसी आरोपी को अतिरिक्त जमानत पेश करने का आदेश दे सकता है अगर कोर्ट को यह लगता है भूल, कपट या किसी अलग कारण से अपर्याप्त जमानत स्वीकार कर ली गई है तो पर्याप्त जमानत प्रस्तुत न करने की दशा मे आरोपी को फिर से जेल भेजा जा सकता है

What are the grounds of bail

सीआरपीसी सेक्शन 443 कोई भी जमानतदार जिसने किसी भी आरोपी की जमानत दी अगर वह अपनी जमानत को रद्द करने के लिए मजिस्ट्रेट को आवेदन दे तो उसका आवेदन मान लिया जायेगा और इन हालात में मजिस्ट्रेट आरोपी को फिर से एक नई जमानत पेश करने का आदेश देगा और आरोपी जमानत पेश नही करता तो आरोपी को जेल में कर दिया जायेगा

सीआरपीसी section 442

सीआरपीसी सेक्शन 442 जब भी कोई आरोपी अपनी रिहाई के लिए कोई जमानतदार पेश नही कर पा रहा तब आरोपी जमानत की राशि कोर्ट मे नगद जमा करने के लिए या बैंक एफडी या वजन पत्र जमा करने के लिए कोर्ट मे आवेदन कर सकता है और कोर्ट द्वारा अनुमति दी जाने पर आरोपी को रिहा किया जा सकता है

जमानत जब्त होने की प्रक्रिया या प्रोसेस क्या है

सीआरपीसी सेक्शन 445 अब मै आपको बताता हूं जमानत जब्त होने की प्रक्रिया या प्रोसेस क्या है जब भी कोई आरोपी न्यायालय से गैर हाजिर रहता है और जमानत की शर्तो का पालन नहीं करता है तो कोर्ट उसकी जमानत को जब्त कर देता है और कोर्ट आरोपी से जब्ती की राशि जमा करने की अपेक्षा करेगा

What are the grounds of bail

सीआरपीसी सेक्शन 446 और 446 (A) इसके अलावा सीआरपीसी सेक्शन में और भी बहुत सारे provision दिए गए है जमानत के बारे मे जैसे कि जमानत की रकम घटाना सेक्शन 440 अभियुक्त और जमानतदार का बंदपत्र section 441 जमानतदार की घोषणा section 441 (A) जमनातदार का दिवालिया या या मृत्यु होने का प्रोसेस

दोस्तो आपने जमानत के बारे आज काफी कुछ सीखा है अगर आपको जमानत के आधार क्या हैं यह पोस्ट अच्छी लगी हो तो कमेंट करे और कोई इससे जुड़ा कोई प्रश्न पूछना हो तो आप नीचे कॉमेंट करके पूछ सकते है।

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